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तस्करी करता था रेंजर, छापा पड़ा तो रिश्वत का पैसा लेकर भागने लगा अफसर, विजिलेंस टीम ने 1 KM दौड़ाकर पकड़ा

असम के सरकारी कार्यालयों में हो रहे भ्रष्टाचार को रोकने के लिए सतर्कता और भ्रष्टाचार निरोधक निदेशालय द्वारा अभियान जोरों पर चल रहा है. बुधवार को टीम ने कछार जिले के लखीपुर वन मंडल के रेंजर को रिश्वत के पैसे संग रंगे हाथ पकड़ा. छापे पड़ने की जानकारी मिलते ही रेंजर अपने ऑफिस से पैसों रंग भाग निकला. लेकिन टीम ने कुछ दूरी से रेंजर को पकड़ लिया और एक्शन लिया.

असम के कछार जिले लखीपुर वन मंडल में पदस्थ रेंजर देवव्रत गोगोई पर वन संसाधनों की तस्करी के बदले एक व्यापारी से कथित तौर पर रिश्वत लेने का आरोप लंबे समय से लगते आ रहा था. रेंजर को रंगे हाथ पकड़ने के लिए गुप्त सूचना के आधार पर सतर्कता और भ्रष्टाचार निरोधक निदेशालय के अधिकारियों ने उसके कार्यालय पर छापा मारा.

छापे की खबर मिलते ही रेंजर गोगोई अपने कार्यालय से रिश्वत की रकम के साथ भाग खड़ा हुआ. करीब 1 किमी तक पीछा करने के बाद भ्रष्टाचार निरोधक टीम ने रेंजर को पकड़ा. गोगोई ने टीम की चंगुल से भागने की बहुत कोशिश की लेकिन वह नाकामयाब रहा.

असम पुलिस के विशेष महानिदेशक जीपी सिंह ने इस अभियान के बारे में ट्वीट किया है. फिलहाल रेंजर गोगोई से पूछताछ की जा रही है.
वहीं गोगोई के गुवाहाटी और जोरहाट स्थित निवास पर भी छापेमारी की गई है. इसके पहले भी सतर्कता और भ्रष्टाचार निरोधक निदेशालय की टीम ने असम के मोरीगांव और डिब्रूगढ़ में अलग-अलग छापेमारी में दो अधिकारियों को रिश्वत लेने के मामले में पकड़ा था. जिसमें एक शिक्षा अधिकारी और जिला आबकारी अधीक्षक का था.

निदेशालय के एक्शन से खौफ में अफसर

राज्य के सरकारी कार्यालयों में हो रहे भ्रष्टाचार को रोकने के लिए सतर्कता और भ्रष्टाचार निरोधक निदेशालय द्वारा चलाये जा रहे अभियान से सरकारी महकमों में हलचल मची हुई है. रिश्वत लेने के खिलाफ असम सरकार ने मोर्चा खोल दिया है.

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