Lucknow

NR मंडल में खुलेआम अवैध वेन्डरों की भरमार जीआरपी, आरपीएफ, के संरक्षण में फलफूल रहा धंधा

  • टिकट चेकिंग करने के नाम पर यात्रियों को बिना टिकट बैठाने के नाम पर होती है अवैध वसूली
  • प्रति माह हजारों रुपये की होती है वसूली मुरादाबाद से लेकर वाराणसी तक चल रहा अवैध कारोबार

लखनऊ / जहां मोदी जी एवं योगी जी की सरकार माफियाओं एवं भ्रष्टाचार के जीरो टालरेंस पर कार्य कर रही है तो वहीं पूरे उत्तर रेलवे जोन में जीआरपी एवं आरपीएफ के संरक्षण में खुलेआम अवैध वेन्डर एवं अनधिकृत दूकानें रेलवे की परिधि में मिलावटी खाद्य सामग्री खुलेआम बेंच रहे हैं और रेलवे प्रशासन अन्जान बना हुआ है।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार हरदोई, संडीला, शाहजहांपुर ,रामपुर ,बरेली, आलमनगर, चारबाग, बाराबंकी, अयोध्या कैंट, अकबरपुर, वाराणसी आदि प्रमुख स्टेशनों पर यह रैकेट काफी दिनों से कार्य कर रहा है और इसका सरगना एक माफिया बताया जाता है।

रेलवे के अधिकृत सूत्रों के अनुसार चारबाग में तो स्टेशन के बाहर सैकङों दूकानें सजी रहती हैं और सिंथेटिक दूध से लस्सी एवं मक्खन बनाकर ऊंचे दामों पर बेंचा जा रहा है लेकिन पुलिस से लेकर मीडिया एवं नगर निगम के आंखों पर पर्दा पङ चुका है।

सूत्रों के अनुसार एक दूकानदार ने बताया कि आलमनगर से लेकर वाराणसी तक लखनऊ मंडल में आता है जिसकी वसूली चारबाग की जीआरपी करती है एंव आरपीएफ की अलग से होती है बाराबंकी में तो समोसा एवं चाय मिलावटी खुलेआम बिक रही है।

चारबाग में एक ऐसा रैकेट है जिसमें आधा दर्जन नाबालिग लङके हैं जो रेलवे लाईन के किनारे फेंकी गयी बोतलों को लाकर चारबाग में पानी भरते हैं और बाराबंकी, दरियाबाद तक प्रति बोतल 20/ रुपये में सारी ट्रेनों में धङल्ले से बेंचते हैं इसी के आङ में सिगरेट, बीङी एवं अन्य नशीले पदार्थ भी बेंचने में सक्रिय बताये जाते हैं।

सूत्रों के अनुसार शाम होते ही चारबाग स्टेशन के पूर्वी छोर एवं पश्चिमी छोर पर अफीम एवं चरस की भी बिक्री धङल्ले से होती है।

मिली जानकारी के अनुसार साबरमती एक्सप्रेस पर कैंटीन चलाने वाला एक युवक जो अयोध्या जनपद का निवासी है खुलेआम 20/ रुपये में पानी का बोतल बेंचता है और कहता है कि मैं अकबरपुर जीआरपी एवं आरपीएफ को माहवारी देता हूं और मुफ्त में पानी की बोतलें देता हूं अगर नहीं कमाऊंगा तो कहां से दूंगा।

सबसे मजे की बात तो ये हैं कि लखनऊ में जितने भी वेन्डर अधिकृत हैं उनका भी मेडिकल सर्टिफिकेट होना चाहिए लेकिन बिना मेडिकल के ये सब धङल्ले से चाय समोसा एवं पानी बेंच रहे हैं।
(क्रमशः)

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