Kushinagar News: अस्पताल से बेटे का शव कंधे पर रखकर बिलखते हुए लौटी मां, नहीं पसीजा किसी का दिल
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कुशीनगर। उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले में दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। यहां अस्पताल में बेटे के मौत की पुष्टी के बाद एंबुलेंस नहीं मिली तो बिलखती हुई मां अपने कंधे पर उसका शव रखकर घर लौटने को मजबूर हो गई। कलेजे के टुकड़े की मौत का सदमा तो लगा ही लेकिन उसके आसपास कोई नहीं था जिससे वह उम्मीद करे कि कोई घर तक उसके बेटे का शव भी पहुंचा सके। आंखों से बरस रही आंसूओं की धारा और कंधे पर अपने जिगर के टुकड़े का शव लिए अस्पताल से बाहर निकल गई लेकिन किसी भी स्वास्थ्य कर्मी का दिल नहीं पसीजा।
इंटरनेट मीडिया पर वायरल हुई तस्वीर
स्वास्थ्य सुविधाओं की व्यवस्था का धता बताने वाला यह मामला सोमवार को उस समय उजागर हुआ, जब बेटे का शव कंधे पर लेकर जा रही मां की तस्वीर इंटरनेट मीडिया पर वायरल हुई। मामला उजागर होने के बाद अब अधिकारी जांच पड़ताल कराने में जुटे हैं।
करंट की चपेट में आकर हुई मौत
वायरल तस्वीर के अनुसार मामला सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तमकुहीराज का है। करंट की चपेट में आए बच्चे को मृत घोषित करने के बाद उसे घर ले जाने के लिए एंबुलेंस उपलब्ध नहीं कराई गई। मजबूर मां नेशा को बेटे का शव कंधे पर लेकर घर जाना पड़ा।
खेलते समय हुआ हादसा
सोमवार को दोपहर लगभग एक बजे नगर पंचायत निवासी वहाब अंसारी का पांच वर्षीय पुत्र नूर मोहम्मद खेलने के दौरान विद्युत करंट की चपेट में आ गया। मां उसे लेकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तमकुहीराज पहुंची थी। जहां बेटे को मृत घोषित कर दिया गया।
सीएमओ ने ली मामले की जानकारी
मामला संज्ञान में आने के बाद मंगलवार को मुख्य चिकित्साधिकारी (सीएमओ) डॉ. सुरेश पटारिया सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे। यहां अस्पताल का निरीक्षण करने के बाद उन्होंने डॉ. विनयसोनी से मृत बच्चे को एंबुलेंस न मिलने की जानकारी ली। इस बाबत स्वास्थ्य अधीक्षक डॉ. एके गुप्ता ने बताया कि शव वाहन सीएचसी पर उपलब्ध नहीं है। जिसके चलते महिला की सहायता नहीं की जा सकी।
क्या कहते हैं अधिकारी
सीएमओ डॉ. सुरेश पटारिया ने कहा कि अस्पताल लाए गए बच्चे की मौत हो चुकी थी। शव वाहन सिर्फ जिला अस्पताल में ही मौजूद है। लेकिन महिला स्वास्थ्य कर्मियों को महिला की मदद के लिए आगे आना चाहिए था। ऐसी गली दोबारा न हो इसके लिए निर्देशित किया गया है।