Ayodhya

मजदूरों और पीड़ित परिवार के साथ मारपीट, आगजनी प्रकरण में प्रधान समेत 25 पर केस

जलालपुर।अंबेडकरनगर। महिला मनरेगा मजदूरों और पीड़ित परिवार के साथ हुई मारपीट में पुलिस ने भीम आर्मी के हस्तक्षेप पर ग्राम प्रधान समेत 10 से 15 अज्ञात महिलाओ के विरुद्ध मारपीट तोड़फोड़ आगजनी,एस सी एस टी समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया।

प्रकरण मालीपुर थाना के खजुरी करौंदी गांव में सोमवार की सुबह घटित हुई थी। सोमवार को जलालपुर ब्लॉक के टिकरी ग्राम पंचायत के प्रधान दीपक सिंह कई महिला मनरेगा मजदूरों के साथ खजुरी करौंदी बार्डर पर स्थित खलिहान की जमीन की साफ सफाई करने पहुंचे।इसी सरकारी जमीन पर दलित परशुराम ने लकड़ी आदि रखकर कब्जा जमा लिया था।

जब मनरेगा महिला मजदूर खलिहान की जमीन पर रखा गया लकड़ी आदि हटाने लगी जिससे नाराज परशुराम के घर की महिलाएं इसे रोकने लगी।इसी बात को लेकर परशुराम के घर की महिलाएं मनरेगा मजदूरों को अपमानित करते हुए लकड़ी आदि पुनः वही रखने लगी। वाद विवाद के बीच मनरेगा मजदूरों और परशुराम के घर के महिलाओ के बीच गुत्थम गुत्था शुरू हो गई। वहां मौजूद दोनो पक्ष के पुरुष बीच बचाव करने लगे।इसी दौरान सूचना पर पहुंची 112 डायल पुलिस मामले को शांत करा कर कार्य बंद करा दिया और दोनो पक्षों को थाना जाने का निर्देश दिया। परशुराम अपने घर की महिलाओ और प्रधान मनरेगा मजदूरों को लेकर थाना चले गए।

छप्परयुक्त गोशाला में लग गई आग

इधर दोनो पक्ष के लोग थाना चले गए उधर परशुराम के छप्पर युक्त मकान में आग लग गई। छप्पर में आग लगते ही वहां अफरा तफरी मच गई। आग की सूचना पर ग्रामीण बाल्टी आदि से आग बुझाने का प्रयास करते हुए आसपास बंधे जानवरो को छुड़ा दिया। जब तक फायर टेंडर पहुंचती तब तक छप्पर में रखा भूसा और गेंहू के साथ पूरा छप्पर स्वाहा हो गया।

भीम आर्मी ने पहुंच दर्ज कराई एफआईआर

दलित का घर ठाकुर प्रधान द्वारा जलाने का आरोप लगाकर भीम आर्मी मंडल पदाधिकारी पहले शोशल मीडिया पर आग की घटना पोस्ट किया।अपने दर्जनों समर्थको के साथ घटना स्थल पहुंचे। वहां की स्थित देखा और थाना पहुंच गए और मुकदमा दर्ज नही होने पर धरना प्रदर्शन की चेतावनी दी।पुलिस ने परशुराम को तहरीर पर ग्राम प्रधान समेत अन्य 10 से 15 महिलाओ के विरुद्ध आगजनी मारपीट तोड़फोड़ एससीएसटी आदि की धारा में मुकदमा दर्ज कर लिया।

यह है पूरा मामला

खजुरी करौंदी ग्राम पंचायत और टिकरी गांव का बार्डर सटा हुआ है।इसी सरहद पर एक बीघा की भूमि खलिहान के रूप में आरक्षित हैं।पिछले नवंबर 23 में टिकरी ग्राम प्रधान के पत्र पर दोनो लेखपालों ने सीमा का सीमांकन कर निशानदेही लगा दिया था।पैमाईश के समय खजुरी करौंदी के प्रधान मौजूद नहीं थे अपने स्थान पर किसी अन्य को भेजा था।इसी सरहद पर स्थित तालाब की खुदाई के दौरान टिकरी के प्रधान दीपक के अनुसार परशुराम का पूरा घर खलिहान में अवैध कब्जा कर बनाया गया है।वही खजुरी करौंदी गांव के प्रधान प्रतिनिधि सुरेश वर्मा पैमाईश पर उंगली उठा इसे ग्राम पंचायत की जमीन पर बना बता रहे है।यही विवाद का मुख्य कारण बन गया।

छप्पर में आग कैसे लगी जांच का विषय

आग कैसे लगी तरह तरह की चर्चाएं तेज हो गई है।कुछ लोगो का कहना है कि नाले में सफाई के लिए खर पतवार जलाया गया था।हवा के साथ पहुंची चिंगारी से छप्पर में आग लग गई।किंतु विपक्षी का कहना है कि पूर्व में हुई गलत पैमाईश को आधार मान प्रधान दीपक जबरदस्ती छप्पर हटाने अन्यथा आग लगाने की धमकी कई बार दे चुके है।

दलित परशुराम की तहरीर पर प्रधान और 10 से 15 अज्ञात महिलाओ के विरुद्ध मारपीट आगजनी एस सी एस टी समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।प्रधान दीपक की तहरीर पर सुरेश वर्मा, परशुराम और सूरज के विरुद्ध मुकदमा दर्ज किया जा रहा है। घटना कैसे हुई विवेचना में दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा। शिवांगी त्रिपाठी

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